पंजाब सरकार ने बजट में कर्मचारियों और पेंशनरों को 'ढेला' तक नहीं दिया: डॉ. एनके कलसी

एसएएस नगर, 9 मार्च - पंजाब राज्य पेंशनर्स महासंघ के जिला अध्यक्ष डॉ. एनके कलसी ने कहा है कि आम आदमी पार्टी सरकार ने 5 मार्च को अपना तीसरा बजट पेश करते हुए एक बार फिर पेंशनर्स और कर्मचारियों को निराश किया है।

एसएएस नगर, 9 मार्च - पंजाब राज्य पेंशनर्स महासंघ के जिला अध्यक्ष डॉ. एनके कलसी ने कहा है कि आम आदमी पार्टी सरकार ने 5 मार्च को अपना तीसरा बजट पेश करते हुए एक बार फिर पेंशनर्स और कर्मचारियों को निराश किया है।

यहां जारी एक बयान में उन्होंने कहा कि कर्मचारियों और पेंशनभोगियों को 10 साल की लंबी अवधि के बाद वेतन आयोग की रिपोर्ट के आधार पर कुछ मिलने की उम्मीद है। लेकिन 1-1-2006 के बाद 1-1-2016 से लागू वेतन आयोग की रिपोर्ट अब तक पेंशनरों पर लागू नहीं की गयी है. उन्होंने कहा कि 1-1-2016 के बाद इस रिपोर्ट के लागू होने की आस में करीब 35000 पेंशनभोगी भगवान को प्यारे हो गये हैं. लेकिन बुजुर्गों के सम्मान का दावा करने वाली आम आदमी सरकार ने अपना तीसरा बजट पेश करते समय भी अपने पेंशनभोगियों का सम्मान नहीं किया. और उनकी संवैधानिक मांगों को न मानकर उन्हें एक बार फिर निराशा हाथ लगी है.

उन्होंने कहा कि एक तरफ देशभर में केंद्र और राज्य सरकार के कर्मचारियों को 1-1-2016 से वेतन आयोग की रिपोर्ट के आधार पर संशोधित पेंशन मिल रही है. लेकिन पंजाब सरकार ने 1-1-2016 से पहले सेवानिवृत्त हुए पेंशनभोगियों की पेंशन को केंद्र सरकार की तर्ज पर 2.59 फैक्टर पर संशोधित नहीं किया है। उन्होंने कहा कि सरकार ने राष्ट्रीय आधार पर पेंशन तय करने को लेकर कोई स्पष्टीकरण जारी नहीं किया है और 1-7-2021 से लागू 2.4495 का बेतुका फॉर्मूला भी 1-1-2016 से 30-6-2021 तक का बकाया पेंशन और 29-2-2024 तक 219 महीने के महंगाई भत्ते की लंबित किस्तों का भुगतान अब तक किया गया है .नहीं किया गया है जिसकी आस में पेंशनधारी एवं पारिवारिक पेंशनधारी दिन प्रतिदिन भगवान को प्यारे होते जा रहे हैं जबकि सरकार अपना पैसा बचाकर भी घाटे का बजट पेश कर रही है.

उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार ने अपने कर्मचारियों और पेंशनभोगियों को 50 प्रतिशत की दर से महंगाई भत्ता देने की भी घोषणा की है. लेकिन पंजाब के कर्मचारियों और पेंशनभोगियों को केवल 38 फीसदी महंगाई भत्ता दिया जा रहा है. पंजाब के मुख्यमंत्री से मांग की गई है कि वे इन पेंशनभोगियों का सम्मान करें और वेतन आयोग की सिफारिशों के अनुसार उनकी पेंशन को संशोधित करके उनके जीवनकाल के दौरान उनका बकाया भुगतान करें।