
नशा करने वाला विद्यार्थी नहीं होता: चमन सिंह
नवांशहर- रेड क्रॉस एकीकृत नशा पीड़ितों के पुनर्वास केंद्र नवांशहर द्वारा मास्टर मलकीत सिंह सरकारी सीनियर सेकेंडरी स्कूल रुड़की खास (गढ़शंकर) में "नशा मुक्त भारत अभियान" के तहत नशा विरोधी जागरूकता शिविर का आयोजन किया गया। इस शिविर की अध्यक्षता श्री जसवीर सिंह (प्रधानाचार्य) ने की।
नवांशहर- रेड क्रॉस एकीकृत नशा पीड़ितों के पुनर्वास केंद्र नवांशहर द्वारा मास्टर मलकीत सिंह सरकारी सीनियर सेकेंडरी स्कूल रुड़की खास (गढ़शंकर) में "नशा मुक्त भारत अभियान" के तहत नशा विरोधी जागरूकता शिविर का आयोजन किया गया। इस शिविर की अध्यक्षता श्री जसवीर सिंह (प्रधानाचार्य) ने की।
इस अवसर पर स. चमन सिंह (प्रोजेक्ट डायरेक्टर) ने स्कूल के विद्यार्थियों को संबोधित करते हुए बच्चों को नशे के प्रति जागरूक किया तथा अपील की कि जो लोग अनुशासन में रहते हैं, वही लोग अपनी मंजिल तक पहुंचते हैं। अगर परिवार में कोई सदस्य नशे का आदी है तो बच्चे उसे भी नशे के प्रति जागरूक कर सकते हैं तथा नशे के नुकसान जैसे बीड़ी, सिगरेट आदि पीने से कैंसर जैसी बीमारियां होने के बारे में बता सकते हैं, जिससे नशे का आदी व्यक्ति भी नशा छोड़ सकता है।
उन्होंने कहा कि अगर हम शारीरिक व मानसिक रूप से स्वस्थ होंगे तभी हम अपने इच्छित लक्ष्य को प्राप्त कर सकते हैं। इसलिए नशे से दूर रहकर ही हम अपने आप को स्वस्थ रख सकते हैं। आज के समय में लोगों को नशे के प्रति जागरूक करके ही नशे से दूर रखा जा सकता है। उन्होंने नशा करने वालों की पहचान करने के बारे में भी कुछ बातें साझा की। साथ ही नशे से होने वाली बीमारियों के बारे में भी विस्तार से बताया।
उन्होंने कहा कि आज विद्यार्थी नशे के जाल में क्यों फंसते हैं, इसके बारे में भी विस्तार से जानकारी साझा की। अंत में उन्होंने कहा कि विद्यार्थियों के जीवन में कई समस्याएं आएंगी, लेकिन उन्हें अपने अभिभावकों या अध्यापकों से साझा करना चाहिए। उन्होंने अध्यापकों से अपील की कि वे स्कूली शिक्षा के साथ-साथ विद्यार्थियों को नशे के प्रति जागरूक करें, ताकि बच्चों को नशे से दूर रखा जा सके।
श्रीमती कमलजीत कौर (काउंसलर) ने सेंटर में मरीजों के इलाज के बारे में भी विस्तार से जानकारी साझा की कि कोई भी नशा करने वाला व्यक्ति अपनी इच्छा अनुसार एक माह तक सेंटर में रहकर मुफ्त इलाज करवा सकता है, क्योंकि नशे की लत घर पर रहकर नहीं छुड़वाई जा सकती, नशे की लत छोड़ने के लिए मनोचिकित्सकों और नशा पुनर्वास केंद्रों तक पहुंचना जरूरी है।
इस अवसर पर श्री निर्मल सिंह (सेवानिवृत्त अध्यापक) ने स्कूल के विद्यार्थियों को नशे के दुष्प्रभावों के बारे में संबोधित किया। उन्होंने कहा कि विद्यार्थियों को यदि कोई परेशानी आती है तो उसे अपने अभिभावकों या अध्यापकों से साझा करना चाहिए तथा केवल पढ़ाई पर ध्यान केन्द्रित कर अपना लक्ष्य प्राप्त करना चाहिए।इस अवसर पर बलवीर सिंह, अमनदीप सिंह, धीरज कुमार, दिलजान सिंह, स्कूल स्टाफ सदस्य हर्ष कुमार, जसवीर सिंह, कुलदीप सिंह, उषा देवी, नरेश कुमारी व विद्यार्थी उपस्थित थे।
