अंतर्राष्ट्रीय सम्मेलन ईएमएसडी-2024 का उद्घाटन आज पीईसी द्वारा एनएबीआई, मोहाली के सहयोग से किया गया

चंडीगढ़: 24 जुलाई, 2024:- पंजाब इंजीनियरिंग कॉलेज (मानित विश्वविद्यालय), चंडीगढ़ के फिजिक्स डिपार्टमेंट ने नेशनल एग्रो-फूड बायोटेक्नोलॉजी इंस्टीट्यूट (NABI), मोहाली के सहयोग से 24 जुलाई से 26 जुलाई, 2024 तक इंजीनियर्ड मैटेरियल्स फॉर सस्टेनेबल डेवलपमेंट (EMSD-2024) पर आधारित एक अंतर्राष्ट्रीय सम्मेलन का शुभारम्भ आज पूरे रस्म-ओ-रिवाज़ से किया।

चंडीगढ़: 24 जुलाई, 2024:- पंजाब इंजीनियरिंग कॉलेज (मानित विश्वविद्यालय), चंडीगढ़ के फिजिक्स डिपार्टमेंट ने नेशनल एग्रो-फूड बायोटेक्नोलॉजी इंस्टीट्यूट (NABI), मोहाली के सहयोग से 24 जुलाई से 26 जुलाई, 2024 तक इंजीनियर्ड मैटेरियल्स फॉर सस्टेनेबल डेवलपमेंट (EMSD-2024) पर आधारित एक अंतर्राष्ट्रीय सम्मेलन का शुभारम्भ आज पूरे रस्म-ओ-रिवाज़ से किया। इस सम्मेलन के मुख्य अतिथि प्रो. राम राजशेखरन (पूर्व निदेशक, सीएफटीआरआई, मैसूर और सीमैप, लखनऊ), गेस्ट ऑफ़ ऑनर प्रो. रेइनहार्ड मिलर के साथ ही डायरेक्टर PEC, प्रो. राजेश कुमार भाटिया (ऐड इंटेरिम), प्रो. अश्वनी पारीक (एग्जीक्यूटिव डायरेक्टर, एनएबीआई), प्रो. नितिन कुमार सिंघल (एनएबीआई), और प्रो. संदीप कुमार (कन्वीनर) ने अपनी गरिमामयी उपस्थिति से इस अवसर की शोभा बढ़ाई।
समारोह की शुरुआत में प्रोफेसर संदीप कुमार ने सम्मेलन के बारे में एक संक्षिप्त विवरण प्रदान किया। उन्होंने पीईसी के प्रांगण में दुनिया के हरेक कोने से आए हुए प्रतिनिधियों का स्वागत किया। उन्होंने इस 3 दिवसीय सम्मेलन में होने वाले विभिन्न सत्रों पर भी प्रकाश डाला। इसके साथ ही उन्होंने ईएमएसडी-2024 का हिस्सा बनने के लिए सभी गणमान्य व्यक्तियों के प्रति अपना आभार भी व्यक्त किया।
यह सम्मेलन सस्टेनेबल प्रक्टिसेस की आवश्यकता को संबोधित करेगा। यह विभिन्न क्षेत्रों में स्थिरता बढ़ाने के लिए इंजीनियर्ड सामग्रियों की पहचान, एनालिसिस और उनके ऍप्लिकेशन्स पर ध्यान भी केंद्रित करता है। यह इफेक्टिव कमर्शीलाइज़ेशन के लिए रीसर्चर्स और इंडस्ट्री प्रोफेशनल्स के बीच संवाद को बढ़ावा देते हुए स्थायी समाधानों के लिए एक व्यापक दृष्टिकोण को प्रोत्साहित भी करेगा।
निदेशक प्रो. राजेश कुमार भाटिया ने इस सम्मेलन का हिस्सा बनने के लिए आयोजकों के प्रति अपना आभार व्यक्त किया। उन्होंने इतने बड़े पैमाने पर अंतर्राष्ट्रीय सम्मेलन आयोजित करने के लिए अपने सहयोगियों को भी बधाई दी। उन्होंने पीईसी की गौरवशाली और ऐतिहासिक विरासत, विशेषकर पीईसी के विरासती ऑडिटोरियम पर भी प्रकाश डाला। उन्होंने संस्थान के विभिन्न अनुसंधान और शैक्षणिक गतिविधियों पर भी बहुमुल्य जानकारी साँझा की। अंततः उन्होंने कहा कि 'हम PEC के पोर्टल पर आप सभी का खुले दिल व् बाँहों से स्वागत करते हैं।'  
एनएबीआई के एग्जीक्यूटिव डायरेक्टर प्रो. अश्वनी पारीक ने एनएबीआई, मोहाली की ओर से सभी का स्वागत किया। उन्होंने कहा कि ये 3 दिन नए संवाद शुरू करने, स्थिरता के बारे में बात व् चर्चा करने के लिए बहुत ही महत्वपूर्ण हैं। सस्टेनेबिलिटी ही ग्रोथ और सक्सेस की असली कुंजी है और विकास के लिए, विशेष रूप से हरित क्रांति की भूमि, पंजाब से, हम टिकाऊ प्रक्टिसेस के लिए मिलकर काम कर सकते हैं।
समारोह के मुख्य अतिथि प्रोफेसर राम राजशेखरन ने इस महान सभा का हिस्सा बनने पर प्रसन्नता व्यक्त की। उन्होंने 100 वर्षो की इस विरासती संस्था पीईसी और  जैव-प्रौद्योगिकी विभाग के आयोजकों और निदेशक के प्रति भी अपना आभार व्यक्त किया। उन्होंने सूक्ष्मजीवों से लेकर आउटर स्पेस तक, सीमेंट कारखानों से लेकर बायो-सीमेंट तक विभिन्न विषयों पर अपनी वैज्ञानिक अंतर्दृष्टि प्रदान की।
समारोह के गेस्ट ऑफ़ ऑनर प्रो. रेनहार्ड मिलर ने सभी के प्रति अपना गहरा आभार व्यक्त किया। उन्होंने प्रतिनिधियों से सम्मेलन का आनंद लेने और फेस-टू-फेस मीटिंग्स और मनुष्यों के साइंटिफिक माइंडस के साथ बातचीत करने के इस अवसर का उपयोग करने के लिए भी कहा। अपने सत्र में उन्होंने जल/वायु, जल/अल्केन वाष्प और जल/तरल अल्केन इंटरफेस पर सर्फेक्टेंट के अवशोषण के बारे में अपनी अंतर्दृष्टि खूबसूरती से प्रदान की। उन्होंने छात्रों को कहा कि 'डू समथिंग क्रेजी इन साइंस, क्रेजीनेस इस नेसेसारी इन साइंस' (विज्ञान में कुछ पागलपन भरा काम करो, विज्ञान में थोड़ा पागलपन होना चाहिए'), ये कहकर भी प्रेरित किया।
अंत में प्रोफेसर नितिन कुमार सिंघल ने धन्यवाद ज्ञापन किया। उन्होंने टिकाऊ प्रथाओं पर इस 3 दिवसीय सम्मेलन में प्रतिनिधियों का औपचारिक स्वागत भी किया।
इस सम्मेलन के मुख्य संरक्षक निदेशक पीईसी, प्रोफेसर राजेश कुमार भाटिया (विज्ञापन अंतरिम) और प्रोफेसर अश्वनी पारीक, कार्यकारी निदेशक, एनएबीआई हैं। सम्मेलन सलाहकार प्रो. संजीव कुमार (पीईसी) और प्रो. विकास ऋषि (एनएबीआई), संयोजक प्रो. संदीप कुमार (पीईसी) और प्रो. नितिन कुमार सिंघल (एनएबीआई) हैं, आयोजन सचिव में डॉ. शिल्पी चौधरी (पीईसी) और डॉ. नवनीत कौर (पीईसी) शामिल हैं।
इस सम्मेलन के मुख्य प्रायोजक डीएसटीआरई, यूटी प्रशासन, जैव प्रौद्योगिकी विभाग, रक्षा मंत्रालय, बीआरएनएस, स्पार्क, बीएमईएफ, फ्रंटियर्स, एल्सेवियर, मेट्रोहम आदि हैं।