
गौतम नगर में साप्ताहिक आध्यात्मिक कार्यक्रम का आयोजन।
होशियारपुर- दिव्य ज्योति जाग्रति संस्थान द्वारा स्थानीय आश्रम गौतम नगर, होशियारपुर में साप्ताहिक आध्यात्मिक कार्यक्रम का आयोजन किया गया। जिसमें श्री आशुतोष महाराज जी की सेविका साध्वी मीमांसा भारती जी ने अपने प्रवचनों में बताया कि आज सारा संसार धन के पीछे भाग रहा है।
होशियारपुर- दिव्य ज्योति जाग्रति संस्थान द्वारा स्थानीय आश्रम गौतम नगर, होशियारपुर में साप्ताहिक आध्यात्मिक कार्यक्रम का आयोजन किया गया। जिसमें श्री आशुतोष महाराज जी की सेविका साध्वी मीमांसा भारती जी ने अपने प्रवचनों में बताया कि आज सारा संसार धन के पीछे भाग रहा है।
इस धन को इकट्ठा करने के लिए व्यक्ति दिन-रात संसार के कर्मकांडों में फंसा रहता है। लेकिन जब तक उसे अपने वास्तविक कर्म का पता नहीं चलेगा, तब तक वह लाख चौरासी योनियों में भटकता रहेगा।
जैसे एक बार श्रीराम और लक्ष्मण जी एक वृक्ष की छाया में विश्राम कर रहे थे। उन्होंने देखा कि एक कीड़ा बारी-बारी से वृक्ष की शाखा पर चढ़ने का प्रयास कर रहा था और हर बार असफल हो रहा था।
यह देखकर प्रभु श्रीराम मुस्कुराए। जब लक्ष्मण जी ने उसके मुस्कुराने का कारण पूछा तो उन्होंने बताया कि यह कीड़ा कई बार इंद्र के सिंहासन पर बैठ चुका है।
क्योंकि यह मानव जन्म के अंतिम लक्ष्य को जाने बिना अनेक कर्मकांड करता रहा। इसी कारण इसे मोक्ष की प्राप्ति नहीं हुई और अब यह लाख चौरासी योनियों में भटक रहा है।
आज भी हर मनुष्य गुरु के ज्ञान के बिना बाह्य क्रियाकलापों में फंसा हुआ है और इन क्रियाओं की सहायता से सांसारिक धन संचय करना चाहता है। हर मनुष्य चाहता है कि उसके पास अधिक से अधिक भौतिक वस्तुएं हों, उसके पास अधिक से अधिक धन हो। मनुष्य वहां सुख खोजता है जहां सुख नहीं है।
इसीलिए हमारे महापुरुष कहते हैं- पापी के घर भी सुत, धरा और लक्ष्मी आती हैं। संत समागम, हरि कथा, तुलसी दुलम्भ दो.. पापी के घर भी अधिक धन, सुंदर पत्नी मिल सकती है, लेकिन संतों के वचन जीवन में बड़े भाग्य से मिलते हैं। जब कोई संत हमारे जीवन में प्रवेश करता है, तो वह हमें हमारे जीवन के अंतिम लक्ष्य से अवगत कराता है।
वह हमें इस मानव जन्म की महानता समझाता है कि भगवान ने हमें मानव रूप में इस संसार में क्यों भेजा है। इसलिए हमारे जीवन में एक पूर्ण संत का होना बहुत जरूरी है जो हमें अज्ञानता के अंधकार से ज्ञान के प्रकाश की ओर ले जा रहा है।
