सरस मेले में खास आकर्षण का केंद्र बन रहा है आगरा का संगमरमर हस्तशिल्प
साहिबज़ादा अजीत सिंह नगर, 19 अक्टूबर 2024: मोहाली(साहिबजादा अजीत सिंह नगर) में सेक्टर 88 में चल रहे सरस मेले में 600 से अधिक राज्यों के हस्तशिल्प के लगभग 300 स्टॉल लगाए गए हैं, जहां संगमरमर, लकड़ी, कपड़े और सजावटी वस्तुओं के स्टॉल मेले के आकर्षण का केंद्र बन रहे हैं। मेले में उत्तर प्रदेश के आगरा क्षेत्र से आए कारीगरों ने संगमरमर की पट्टियों को तराशकर विभिन्न प्रकार की मूर्तियां प्रदर्शित की हैं और उन पर रंगों और मोतियों की खूबसूरती से कढ़ाई की हुई है।
साहिबज़ादा अजीत सिंह नगर, 19 अक्टूबर 2024: मोहाली(साहिबजादा अजीत सिंह नगर) में सेक्टर 88 में चल रहे सरस मेले में 600 से अधिक राज्यों के हस्तशिल्प के लगभग 300 स्टॉल लगाए गए हैं, जहां संगमरमर, लकड़ी, कपड़े और सजावटी वस्तुओं के स्टॉल मेले के आकर्षण का केंद्र बन रहे हैं। मेले में उत्तर प्रदेश के आगरा क्षेत्र से आए कारीगरों ने संगमरमर की पट्टियों को तराशकर विभिन्न प्रकार की मूर्तियां प्रदर्शित की हैं और उन पर रंगों और मोतियों की खूबसूरती से कढ़ाई की हुई है। यहां हस्तनिर्मित संगमरमर की वस्तुओं में हाथी, शेर, पानी के फव्वारे, शतरंज, गाय, गौतम बुद्ध की मूर्तियाँ, सुंदर फूलदान, लैंप, स्टूल और अन्य सजावटी वस्तुएँ शामिल हैं। इसके अलावा रोजमर्रा की रसोई की वस्तुओं में चकला, दस्ते से मसाला बनाने वाले कुंड, बढ़ा कुंड और दस्ता भी आकर्षण का केंद्र बन रहे हैं। हस्तशिल्प कलाकार सलीम कुरेशी आगरा ने बताया कि यह उनका पुश्तैनी काम है, जो उनका परिवार पिछले 60 वर्षों से कर रहा है। पहले यह काम उनके दादा, पिता अकबर ने किया था। उन्होंने कहा कि इन संगमरमर की छवियों को तैयार करने के लिए एक ही टुकड़े का उपयोग किया जाता है, जिसे छेनी और हथौड़े से तराशा जाता है और फिर मोतियों और पेंट से उकेरा जाता है। यह कार्य घर के सभी सदस्य स्त्री-पुरुष करते हैं। संगमरमर से बनी किसी भी वस्तु को सजाने/चमकाने के लिए मोती और पेंट का उपयोग किया जाता है। आग की मदद से संगमरमर पर पेंट की एक परत लगाई जाती है, जिससे रंग ठोस और जीवंत निकलता है। उन्होंने यह भी बताया कि इस मेले में लगाये गये स्टॉल में सभी सामान लाये गये हैं, वे सभी हस्तनिर्मित हैं और प्रत्येक टुकड़ा अपने आप में अद्वितीय है और इसमें कोई भी जोड़ नहीं है। हस्तनिर्मित सामान अधिक टिकाऊ होते हैं। सलीम क़ुरैशी ने बताया कि उनके उत्पाद भारत के अलावा विदेशों में भी भेजे जाते हैं। सरस मेले में आज बड़ी संख्या में लोग स्टॉलों पर दिखायी दिए। लोग इन कारीगरों की कारीगरी की प्रशंसा कर रहे थे और दिलचस्पी से खरीदारी कर रहे थे। मेले की नोडल अधिकारी (अतिरिक्त उपायुक्त, विकास) सोनम चौधरी के मुताबिक पहली बार सरस मेले का मोहाली में आगमन लोगों को खासा आकर्षित कर रहा है। उन्होंने कहा कि मेले में इन बारीक हस्तशिल्प वस्तुओं के अलावा विभिन्न राज्यों के लज़ीज़ व्यंजन भी लोगों की रुचि का केंद्र हैं। उन्होंने बताया कि मेला 27 अक्टूबर तक प्रतिदिन सुबह 10 बजे से रात 10 बजे तक चलेगा।
