प्रसिद्ध लेखकों की तीन पुस्तकें भी लोगों को भेंट की गईं

होशियारपुर - डायरेक्टर भाषा विभाग, पटियाला के दिशा-निर्देशों पर जिला भाषा कार्यालय होशियारपुर में एक भव्य कवि दरबार का आयोजन किया गया। इसकी अध्यक्षता संत बाबा भाग सिंह यूनिवर्सिटी जालंधर के पंजाबी विभाग के प्रमुख डॉ. हरप्रीत सिंह, सहायक जनसंपर्क अधिकारी लोकेश चौबे, कुलतार सिंह कुलतार और जसबीर सिंह धीमान ने की।

होशियारपुर - डायरेक्टर भाषा विभाग, पटियाला के दिशा-निर्देशों पर जिला भाषा कार्यालय होशियारपुर में एक भव्य कवि दरबार का आयोजन किया गया। इसकी अध्यक्षता संत बाबा भाग सिंह यूनिवर्सिटी जालंधर के पंजाबी विभाग के प्रमुख डॉ. हरप्रीत सिंह, सहायक जनसंपर्क अधिकारी लोकेश चौबे, कुलतार सिंह कुलतार और जसबीर सिंह धीमान ने की।
भाषा विभाग के अनुसंधान अधिकारी डॉ.जसवंत रॉय ने अतिथियों, विद्वानों और कवियों का स्वागत किया और भाषा विभाग की गतिविधियों को साझा किया। कवि दरबार से पहले हमेशा के लिए दिवंगत हुए मशहूर पंजाबी लेखक सुरजीत पातर, मोहनजीत और सुखजीत को दो मिनट का मौन रखकर श्रद्धांजलि दी गई।
इसके बाद कवि डॉ. शमशेर मोही, कुलतार सिंह कुलतार, जसबीर धीमान, पम्मी द्विवेदी, अंजू वी राठी, कुन्दन लाल भट्टी, तीर्थ चंद सरोआ, रापी राजीव, रमणीक सिंह, अजय कुमार, परमजीत सिंह, रवि सिंह बठिंडा, दविंदर सिंह ने तरन्नुम में अपनी कविताएं, गजलें और गीत पेश कर समय गुजारा।
 डॉ. हरप्रीत सिंह ने प्रस्तुत रचनाओं पर अपनी टिप्पणियाँ दीं और समकालीन कविता के भावनात्मक आख्यानों को विस्तार से साझा किया। नए लेखकों के लिए सीखने का माहौल बनाते हुए, उन्होंने ऐतिहासिक घटनाओं को क्लासिक तरीकों के माध्यम से कार्यों का हिस्सा बनाने के बारे में कई बिंदु साझा किए। इस अवसर पर कथाकार हरभजन सिंह कथारवी का कहानी संग्रह 'डूबडे सूरज दा अक्स', अंजू वी राठी का बाल कविता संग्रह 'सेध निशाने' और हैप्पी राजीव का कविता संग्रह 'यादां जे ना हुन्दियां' लोक अर्पण की गईं|
मुख्य अतिथियों, विद्वानों एवं कवियों में भाई कान्ह सिंह नाभा महान कोष, पुस्तकों के सेट एवं शॉल ओढ़ाकर सम्मानित किया गया। इस मौके पर इंस्पेक्टर गुरप्रीत सिंह, लवप्रीत, लाल सिंह, पुष्पा रानी, ​​प्रभदीप सिंह, गुरप्रीत सिंह मानसा, विरिंदर कुमार राठी, रोबिन, अमनदीप सिंह मौजूद थे। इस दौरान सहायक जनसंपर्क अधिकारी लोकेश चौबे ने सभी को धन्यवाद दिया। कार्यक्रम के दौरान मंच की भूमिका डॉ. जसवंत रॉय ने बखूबी निभाई।