टोरंटो में आयोजित अंतरराष्ट्रीय बेस्ट बापू प्रतियोगिता में गढ़शंकर के बलदेव सिंह आगे

गढ़शंकर, 29 जून - कनाडा में आयोजित मेला पंजाबियां के ग्रैंड फिनाले में विभिन्न देशों के प्रतियोगियों ने भाग लिया। बेस्ट बापू की मुख्य प्रतियोगिता के विजेता गढ़शंकर के बलदेव सिंह हीर रहे। बलदेव सिंह हीर के पुत्र बलकार सिंह विक्की हीर द्वारा दी गई जानकारी के अनुसार उनके पिता इस समय न्यूजीलैंड में स्थायी रूप से रह रहे हैं तथा इस प्रतियोगिता में न्यूजीलैंड सहित विश्व भर के आठ देशों में प्रतियोगिताएं आयोजित की गई, जिसमें उनके पिता विभिन्न स्तरों पर प्रतियोगिताएं जीतते रहे तथा अंत में कनाडा में आयोजित अंतिम प्रतियोगिता जीतने में सफल रहे।

गढ़शंकर, 29 जून - कनाडा में आयोजित मेला पंजाबियां के ग्रैंड फिनाले में विभिन्न देशों के प्रतियोगियों ने भाग लिया। बेस्ट बापू की मुख्य प्रतियोगिता के विजेता गढ़शंकर के बलदेव सिंह हीर रहे। बलदेव सिंह हीर के पुत्र बलकार सिंह विक्की हीर द्वारा दी गई जानकारी के अनुसार उनके पिता इस समय न्यूजीलैंड में स्थायी रूप से रह रहे हैं तथा इस प्रतियोगिता में न्यूजीलैंड सहित विश्व भर के आठ देशों में प्रतियोगिताएं आयोजित की गई, जिसमें उनके पिता विभिन्न स्तरों पर प्रतियोगिताएं जीतते रहे तथा अंत में कनाडा में आयोजित अंतिम प्रतियोगिता जीतने में सफल रहे। 
उन्होंने बताया कि जसविंदर सिंह खोसा तथा महफल मीडिया के अमनदीप सिंह पन्नू ने संयुक्त रूप से पंजाबी बुजुर्गों की कला को लोगों तक पहुंचाने के उद्देश्य से मिस्सी सागर स्थित रोस कन्वेंशनल सेंटर में गिद्दा, भांगड़ा तथा कला की विभिन्न प्रतियोगिताएं आयोजित की। 
उन्होंने बताया कि इस प्रतियोगिता में 93 वर्ष तक के बुजुर्गों को मंच से अपनी कला दिखाने का अवसर मिला। गुरुद्वारा श्री गुरु सिंह सभा साहिब के पूर्व अध्यक्ष बलदेव सिंह को इस अंतरराष्ट्रीय उपलब्धि पर गढ़शंकर के उनके समकालीनों और शुभचिंतकों ने बधाई दी है और उनके परिवार को बधाई दी जा रही है। शिकागो यूएसए से हैप्पी हीर, जिनके बलदेव सिंह जी चाचा लगते हैं, ने इस उपलब्धि पर उनके परिवार को बधाई दी है।

 गढ़शंकर का नाम अंतरराष्ट्रीय स्तर पर रोशन किया, हमें अपने पिता पर गर्व है- 
बलदेव सिंह के बेटे बलकार सिंह विक्की हीर ने कहा कि 92 साल की उम्र में यह खिताब जीतकर उनके पिता ने न केवल परिवार का बल्कि गढ़शंकर क्षेत्र का भी गौरव बढ़ाया है। उन्होंने कहा कि पूरे क्षेत्र से बड़ी संख्या में लोग बधाई संदेश भेज रहे हैं और वह इस सम्मान के लिए सभी के आभारी हैं। 
बलदेव सिंह की पत्नी राजिंदर कौर व उनकी बेटी जगदीप कौर बोला ने कहा कि प्रतियोगिता के शुरुआती चरण में हमें उम्मीद नहीं थी कि बलदेव सिंह इस प्रतियोगिता के अंतरराष्ट्रीय विजेता बनेंगे, लेकिन प्रतियोगिता के विभिन्न चरणों में जिस तरह बलदेव सिंह ने भांगड़ा, सांस्कृतिक जानकारी व पारिवारिक विषयों से जुड़े सवाल-जवाब में शानदार प्रदर्शन किया, उससे उनकी प्रतिभा ने एक बारगी हम सभी को आश्चर्यचकित कर दिया। 
बलदेव सिंह की बेटी रणधीर कौर विर्क यूके ने बातचीत करते हुए कहा कि जब मेरे पिता ने न्यूजीलैंड में इस प्रतियोगिता का पहला खिताब जीता था तो यह बहुत गर्व की बात थी, लेकिन आज अंतरराष्ट्रीय स्तर पर मेरे पिता की उपलब्धि ने इसे पूरे गढ़शंकर के लिए गर्व की बात बना दिया है। बलदेव सिंह की बेटी अमनदीप कौर चौहान का कहना है कि जिस उम्र में बड़े-बुजुर्ग आराम से बैठते हैं, उस उम्र में प्रतियोगिता में भाग लेना अपने आप में बड़ी बात है और हमारे पिता सरदार बलदेव सिंह ने न केवल इस प्रतियोगिता में भाग लिया बल्कि जीतकर यह भी दिखा दिया कि पंजाबी बहुत बहादुर होते हैं। 
बलदेव सिंह की बेटी सतवीर कौर बोला का कहना है कि हमारे परिवार के सदस्य न्यूजीलैंड, इंग्लैंड और कनाडा में बसे हुए हैं और मेरे पिता की इस उपलब्धि पर सभी परिवारों में जश्न का माहौल है। उन्होंने कहा कि बापू जी के समकालीन और परिचित लगातार उन्हें बधाई दे रहे हैं।